आत्म चिंतन! क्या हम इनमे से एक तो नहीं है? अभिमानी / जिद्दी / क्रोधी / लालची/ पागल / मुर्ख/ भुलक्कड़ (ये सब आपस में पर्याय है?) इन्ही प्रश्नों ने शायद हर वक़्त पीछा किया है और हम अपने आप से जूठ बोल लेते है और इन जैसे लोगो से भागते है हर सामान्य व्यक्ति इन लोगो से दूर भागता है, क्योंकि अभिमानी या क्रोधी व्यक्ति, किसी को भी बिना वजह अपमानित कर सकता है, बुद्दू, लालची, जिद्दी कोई भी नुक्सान पंहुचा सकता है, वगेरा वगेरा .. पागल को खुद पता नहीं चल पाता की वो जो करता है वह, ठीक नहीं है और वो करता ही चला जाता है, क्या यही बात दूसरी तरह के लोगो (बुद्दू, लालची, जिद्दी..) में भी नहीं पाई जाती? हाँ ये पहली समान बात है सभी की एक और बात समान है, वो ये की ये केवल नुक्सान करते है स्वयं का और दूसरो का भी कोन ज्यादा दुखदाई है चोर या मुर्ख(बुद्दू, लालची, जिद्दी...)? चोर एक वक़्त पे एक खास तरह का नुकशान कर के चला जायेगा, लेकिन ये महान किस्म के लोग अपनी छाती पे मुंग दलते रहेंगे मुर्ख कहा और कितना नुक्सान कर दे, ये कोई नही जानता भुलक्कड़ व्यक्ति के कारण उस पर निर्भर रहने वाला व्यक्ति बेवजह मुर्ख बन जाता ...
Understand any Rishte & Nate - Between Human, Things, Dream, Nature, thoughts, Habit, Desire, Passion, Lust, Creativity, Weakness, Career and Fear of Unknown etc. This blog is to share and learn from the people. Anything happening anywhere can be discussed. There is always a way out for any problem. Counseling, guidance, mentoring and advising is something which get you so much in return as satisfaction of being of use to someone. Bring light in life by very personal interaction on any topic.